सार :
इस बार मानसून ने केरल के साथ-साथ पूर्वी राज्यों में भी प्रवेश किया था जिसके चलते दक्षिणी राज्यों में तो बारिश देखी जा रही है साथ-साथ पूर्वी राज्यों में भी खूब जमकर बारिश हो रही है इन राज्यों में मौसम द्वारा बारिश का हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है। मध्य प्रदेश के कुछ जिलों में प्री मानसून वर्षा शुरू हो चुकी है। जिससे लोगों को भीषण गर्मी से राहत मिल चुकी है फिर भी गर्मी से पूरी तरह राहत के लिए बारिश का लगातार होना आवश्यक है। आईए जानते हैं पूरी ख़बर विस्तार से।
विस्तार :
मौसम विभाग के अनुसार दिल्ली में जारी भीषण गर्मी से आने वाले कुछ दिनों में निजात मिलने की संभावना है। वहीं, पश्चिमी उत्तर प्रदेश में आने वाले दो दिनों तक मौसम विभाग ने गर्मी को लेकर रेड अलर्ट जारी किया है। मौसम विभाग के अनुसार दिल्ली-एनसीआर में अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस के आसपास रहने की उम्मीद है। 30 जून के आसपास दिल्ली-एनसीआर में मॉनसून के आने की उम्मीद है। अनुमान है कि भारत में अच्छे मानसून के कारण पिछले साल कम हुई बारिश की भरपाई हो सकती है। मौसम विभाग के अनुसार दिल्ली-एनसीआर में अधिकतम तापमान 40 डिग्री सेल्सियस के आसपास रहने की उम्मीद है। 30 जून के आसपास दिल्ली-एनसीआर में मॉनसून के आने की उम्मीद है। मौसम विभाग के अनुसार, 20 जून को दिल्ली में हल्की बूंदाबांदी से राहत मिल सकती है। मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार प्रदेश में अभी पश्चिमी विक्षोभ, साइक्लोनिक सकुर्लेशन एक्टिव है। इस वजह से प्रदेश में आंधी-बारिश का दौर चल रहा है।
27 जून को राजधानी में हल्की बारिश का पूर्वानुमान व्यक्त किया गया है। वहीं अगर हम उत्तर भारत के अन्य राज्यों में दक्षिण पश्चिम मानसून के इस बार हरियाणा, चंडीगण, पंजाब में समय से आने की संभावना है। ऐसा इसलिए क्योंकि मानसून का पैटर्न अभी तक अपने समय से चल रहा है। हरियाणा में मानसून की बारिश 3 जुलाई तक आ सकती है। अगर हम मध्य प्रदेश के मौसम की बात करें तो मध्यप्रदेश के अलग-अलग क्षेत्र में अलग-अलग तरह का मौसम देखने को मिल रहा है। मौसम विभाग के मुताबिक शुक्रवार को भी गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ने की संभावना है। विशेषकर भोपाल, नर्मदापुरम, जबलपुर, शहडोल, सागर संभाग के जिलों में तेज बौछारें पड़ सकती हैं। मौसम विज्ञान केंद्र से मिली जानकारी के मुताबिक वर्तमान में एक पश्चिमी विक्षोभ पाकिस्तान पर बना हुआ है। पंजाब पर एक प्रेरित चक्रवात बना हुआ है।
उत्तर भारत में मॉनसून का इंतज़ार :
दिल्ली वासियो के लिए सबसे राहत की बात यह है कि अब यहां लू नहीं लौटेगी। तेज हवाएं और हल्की बारिश या कुछ समय के लिए बौछारें पड़ेंगी। बारिश से उमस वाली गर्मी जरूर परेशान कर सकती है। उमस वाली गर्मी लू की गर्मी से अधिक खतरनाक मानी जाती है। जून का महीना अब अपने अंतिम पड़ाव पर है। बिहार-एमपी में जहां मॉनसून ने एंट्री ले ली है, तो वहीं भीषण गर्मी से झुलसी दिल्ली को अब भी अच्छी बारिश का इंतज़ार है। हालांकि राहत की बात यह है कि देश की राजधानी दिल्ली में अब लू के लौटने की संभावना नहीं है और आगे तेज हवाएं और हल्की बारिश लोगों को राहत पहुंचाती रहेगी।
उत्तर प्रदेश पहुंचने में 3-4 दिन लगेंगे, जिससे अगले सप्ताह तक भारी बारिश होगी. यानी 25 जून तक बिहार से सटी यूपी की सीमा पर मॉनसून दस्तक दे देगा. इसके बाद ये अपनी रफ्तार से आगे बढ़ेगा और 30 जून तक पूरे प्रदेश को कवर कर सकता है.उत्तरी अरब सागर के कुछ और हिस्सों, गुजरात राज्य, महाराष्ट्र के शेष हिस्सों, मध्य प्रदेश के कुछ और हिस्सों, छत्तीसगढ़, ओडिशा, गंगीय पश्चिम बंगाल, झारखंड, बिहार और पूर्वी उत्तर के कुछ हिस्सों में अगले 3-4 दिनों के दौरान दक्षिण-पश्चिम मानसून के आगे बढ़ने के लिए परिस्थितियाँ अनुकूल हैं। मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार उत्तरी राज्यों में आंधी और हल्की बारिश की संभावना बनी हुई है। आंधी के दौरान हवाओं की गति 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटे रह सकती है। अधिकतम तापमान 39 और न्यूनतम 30 डिग्री तक रह सकता है। इसके बाद 25 से 29 जून तक बादल छाए रहेंगे। आंधी और बारिश की संभावना है।
मौसम विज्ञान केंद्र ने चार धाम यात्रा पर आने वाले तीर्थयात्रियों से अपील की है कि मौसम के पूर्वानुमान के अनुसार ही यात्रा के लिए निकले। पहाड़ी राज्यों की बात करें तो उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश में भी गर्मी से राहत मिली है। 24 से 27 जून तक हिमाचल प्रदेश में गरज चमक के साथ तेज हवाएं चलती रहेंगी। उत्तराखंड के अधिकांश जिलों में आज मध्यम बारिश हो सकती है। पंजाब हरियाणा और चंडीगढ़ में हीटवेव की संभावना है पर यह बहुत परेशान नहीं करेगी। 27 जून तक यहां ऐसा ही मौसम रहने की संभावना है।
मध्य प्रदेश मौसम की जानकारी :
दक्षिण-पश्चिम मॉनसून अपने निर्धारित समय से तीन दिन देरी से 21 जून, शुक्रवार को मध्य प्रदेश पहुंच गया है. मौसम विभाग के मुताबिक, अगले चार से पांच दिनों में पूरे राज्य को कवर करने की संभावना है। मध्य प्रदेश में पूर्वी हिस्से में 18 जून को मॉनसून आने की उम्मीद थी. हालांकि इस बार इसमें तीन दिन की देरी हो गई है। राज्य के पश्चिमी भाग से एमपी में इसके प्रवेश की सामान्य तारीख 16 जून है, जबकि इस बार 3 दिन की देरी से मॉनसून ने दस्तक दी। वहीं अब मौसम विज्ञान विभाग के वैज्ञानिकों ने मध्य प्रदेश के सभी 55 जिलों के लिए अलर्ट जारी किए हैं। इनमें से सात जिलों के लिए रेड अलर्ट जारी किया गया है। आंधी के समय हवा की रफ्तार 60 किलोमीटर प्रति घंटा तक हो सकती है। इसके कारण भारी नुकसान होने की संभावना है। इसलिए रेड अलर्ट जारी किया गया है।
मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार भोपाल के अनुसार सिंगरौली, अनुपपुर, शहडोल, छिंदवाड़ा, सिवनी, बालाघाट, पांडुर्णा जिलों में अनेक स्थानों पर तूफानी आंधी और बारिश होने की संभावना है। मौसम विभाग द्वारा ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है। जहां तक संभव हो इस सुरक्षित स्थानों पर रहें, एवं किसी भी ऐसे स्थान पर ना रुके हैं जहां पर मौसम खराब होने की स्थिति में खतरा है। अशोकनगर, शिवपुरी, ग्वालियर, दतिया, भिंड, मुरैना, श्योपुरकला, रीवा, मऊगंज, सतना, कटनी, जबलपुर, नरसिंहपुर टीकमगढ़, निवाड़ी, मेहर जिलों में 50 किलोमीटर प्रति घंटा की स्पीड से कुछ समय के लिए आंधी और बारिश होने की संभावना है। इसलिए मौसम विभाग द्वारा येलो अलर्ट जारी किया गया है। अगर हम राजस्थान की बात करें तो यहां जयपुर समेत कई राज्यों में मॉनसूनी बारिश हुई है। अभी यहां मॉनसून ने दस्तक नहीं दी है, लेकिन प्री-मॉनसून ने पूरा माहौल बना दिया है।