जीवन में पहली नौकरी का पहला वेतन पाना सभी के लिए बहुत ही खुशी का मौका होता है। यह एक सपने जैसा होता है जब पहला वेतन हाथ में आता है तो अपने सशक्त होने का एहसास होता है। अब क्योंकि पहली बार अपनी मेहनत से धन अर्जित किया है इसीलिए कई युवा दिल खोलकर भी खर्च करने लगते हैं जो की ठीक भी है और नहीं भी। खर्च करने के साथ बचत करना भी एक अहम सवाल है। पहली नौकरी की पहली तनख्वाह के साथ ही जीवन के नए पड़ाव और आगे आने वाली जिम्मेदारियां की तैयारी करना भी जरूरी है।

पहली नौकरी में ही धन प्रबंधन जरूरी होता है लेकिन कई युवा इसे नजर अंदाज करते हैं या फिर उन्हें इसकी पूर्ण रूप से जानकारी नहीं होती, इसीलिए विशेषज्ञ आपको बताते हैं कि आप कहां और कैसे धन प्रबंधन कर सकते हैं और अपना मेहनत का पैसा हर महीने बचा सकते हैं।

धन जोड़ना क्यों जरूरी है: विशेषज्ञ बताते हैं की बचत और निवेश की शुरुआत आरंभ से ही कर देनी चाहिए यह एक समृद्धि समझदारी वाला काम है। सामान्यतः शुरू में बुनियादी खर्च कम होते हैं जो समय के साथ शादी बच्चे होने पर बढ़ने लगते हैं इसीलिए 50 30 20 निवेश नियम की जगह शुरुआत में आय का 40 फ़ीसदी 20 फ़ीसदी के बजाय निवेश में, आय का 30 फ़ीसदी 50 फ़ीसदी के बजाय अपनी बुनियादी जरूरत के लिए अलग रखना और खर्च करना चुन सकते हैं, वहीं 20 फ़ीसदी से बाकी इच्छाओं को पूरा किया जा सकता है।

हर इंसान को पता होना चाहिए कि उसके लिए क्या महत्वपूर्ण है और वह क्या चाहता है जीवन लक्ष के अनुसार निवेश योजना बनानी चाहिए। इसके अलावा भले ही समय के साथ हमारी प्राथमिकताएं बदलती रहती हैं और बदल जाएं फिर भी हमारा निवेश बढ़ता रह सकता है,”हमारा किया गया निवेश ही हमारे लिए आगे अतिरिक्त कमाई बनता है”।

बजट निर्धारित करना, बचत का पहला नियम है: हर इंसान की सैलरी के अनुसार उसे उसके खर्च और सब की परिस्थितियों भी अलग-अलग होती हैं। किसी के ऊपर पूरे परिवार की जिम्मेदारी होती है तो कोई लक्ष्य तक पहुंचाने की शुरुआत करता है इसीलिए इन दोनों को ध्यान में रखते हुए वेतन के उपयोग का एक बजट बनाएं।

बजट बनाए बिना आप किसी जगह निवेश और बचत नहीं कर सकते इसीलिए सबसे पहले बजट बनाना जरूरी होता है। अगर घर से दूर रहते हैं तो रहने खाने का खर्च ,निजी ज़रूरतें आदि इसमें शामिल करें। यदि पारिवारिक आर्थिक मदद की कोई अतिरिक्त जिम्मेदारी ना हो तो निवेश के लिए बचत का प्रावधान बजट का हिस्सा होना चाहिए।

बीमा में करें निवेश: जैसे ही हम कमाना शुरू करते हैं इसकी शुरुआत में ही बीमा में निवेश कर सकते हैं यह एक अच्छा बचत का उपाय है। टर्म जीवन बीमा का प्रीमियम कम होता है जहां तक हो सके जीवन बीमा और स्वास्थ्य बीमा करने में कोई भी देर नहीं करनी चाहिए। इससे भविष्य को सुरक्षित किया जा सकता है और कठिन समय आने पर इसके होने पर भार नहीं होता।

SIP में निवेश करें: शुरुआत से ही बैंक में रैंकिंग डिपॉजिट खाता खुलवाना और म्युचुअल फंड में एसआईपी के माध्यम से एक निश्चित राशि हर महा जमा करना एक अच्छा विकल्प होता है। साथ ही अपनी वार्षिक आय पर देय टैक्स के अनुसार टैक्स बचाने के विभिन्न योजना जैसे पीपीएफ, एनपीएस आदि में भी निवेश एक विकल्प हो सकता है।

जिससे बचत के साथ-साथ अपने कमाई का हिस्सा अपने पास ही रहेगा।

सही जगह ही, सोच समझकर करे खर्च: अपने वेतन में बचत करने के लिए सबसे पहले हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि हम जहां खर्च कर रहे हैं वह जगह सही है या हम फिजूल खर्ची कर रहे हैं इसीलिए सोच समझकर खर्च करना बहुत ही आवश्यक है। बहुत महंगे गैजेट जैसे मोबाइल ,लैपटॉप ,टैबलेट आदि पर खर्च करना ,क्रेडिट कार्ड लेना या हर हफ्ते मनोरंजन में पैसे खर्च करना आदि यह सभी अनावश्यक खर्च होते हैं अगर आपका बजट ज्यादा है तो आप इसमें खर्च करने से पीछे नहीं रहें लेकिन अगर आपका बजट कम है तो आपको अपना हाथ खींच कर चलना होगा और फिजूल खर्ची काम करना होगा। जिससे आप अपने वेतन का सही इस्तेमाल और सही बचत कर सकते हैं।

खर्चे में नहीं, कमाने में करें तुलना: कई बार ऐसा होता है कि हम दूसरों को देखकर उनसे होड़ करने लगते हैं और उनकी तरह फिजूल खर्ची करने लगते हैं कई बार दिखावे के लिए और दूसरों से ज्यादा की होड़ में अत्यधिक महंगे कपड़े खरीदना और महंगे होटलों में खाना और दूसरों को पार्टी देना आदि ऐसे खर्चे हैं, जिससे बचत नहीं हो पाती इसलिए इनसे बचना चाहिए।

अगर आप आसपास मौजूद लोगों के अनुसार खुद में बदलाव करना चाहते हैं तो धीरे-धीरे करें ताकि अपना वेतन से थोड़ी बचत कर सके और थोड़ा अपनी जरूरत को भी पूरा कर सकें इसीलिए खर्चे में नहीं कमाई में होड़ करना चाहिए ।

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