देश के कई राज्यों में अब चुनावी माहौल गर्माया हुआ है देश के पांच राज्यों में आने वाले महीनो में विधानसभा चुनाव होने जा रहे हैं। चुनाव की तारीख भी चुनाव आयोग ने जारी कर दी है और कई जगह आचार संहिता लग चुकी है इसी बीच मध्य प्रदेश में अभी तक कांग्रेस ने अपने उम्मीदवारों की सूची जारी नहीं की थी जबकि बीजेपी पार्टी ने अपने उम्मीदवारों की सूची जारी कर दी है।
सूत्रों से खबरें आ रही है कि कांग्रेस की पहली सूची में 130 से 150 सीटों पर उम्मीदवार तय हैं बताया जा रहा है कि कांग्रेस नवरात्रि के पहले दिन यानी 15 अक्टूबर को अपनी पहली सूची मध्य प्रदेश के उम्मीदवारों की जारी करने जा रही है। अगले दो दिन नई दिल्ली में मैराथन बैठके होगी। सभी 230 सीटों पर दो सूचियां में उम्मीदवारों के नाम तय करने की तैयारी है। पहली सूची 130 से 150 उम्मीदवारों की होगी दूसरी सूची में शेष 80 सीटों पर प्रत्याशी होंगे। दूसरी सूची के नाम तय न होने पर आगे चर्चा होगी। प्रदेश अध्यक्ष कमलनाथ 77 साल के हो गए हैं वह पूरी तैयारी के साथ चुनावी मैदान में उतर चुके हैं यह उनका आखिरी दाब भी हो सकता है वह छिंदवाड़ा से पहले लड़े थे और अभी भी कमलनाथ छिंदवाड़ा से ही लड़ेंगे।
इसी के साथ कांग्रेस पार्टी ने मध्य प्रदेश सहित अन्य राज्यों में कई बदलाव भी किए हैं। राजनगर से सिटिंग एमएलए विक्रम सिंह नातीराजl को बिजावर से लड़ने की तैयारी हो रही है वहीं पूर्व सांसद सत्यव्रत चतुर्वेदी की बेटी निधि चतुर्वेदी को राजनगर से लड़ाई जाने की सहमति हुई है। झाबुआ विधायक व चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष कांतिलाल भूरिया विधायक के बेटे और यूथ कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष विक्रांत को टिकट देने की चर्चा भी चल रही है।
वहीं कांग्रेस अपनी होने वाली मैराथन बैठकों में कई अहम फैसले ले सकते हैं और उम्मीदवारों के नाम में फेरबदल भी कर सकते हैं। अभी यह बताना मुश्किल है के किसका टिकट कटेगा और किसको टिकट मिलने जा रहा है यह कांग्रेस की सूची जारी होने के बाद ही पूर्णता साफ हो पाएगा।
प्रदेश में आचार संहिता लागू हो चुकी है। सभी पार्टियां प्रदेश में होने वाले विधानसभा चुनाव की तैयारी में जोरों शोरों से लगी हुई है अगले महीने दिवाली के कुछ दिन बाद ही चुनाव की तारीख भी है मध्य प्रदेश में टोटल विधानसभा सीटें 230 है जो काफी ज्यादा है। अगर बीजेपी की बात करें तो बीजेपी ने अपने अनुभवी उम्मीदवारों को ही ज्यादा तवज्जो दी है और टिकट सोपा है वहीं अब देखना है कि कांग्रेस पार्टी अपने किस उम्मीदवार को किस जगह से टिकट देती है।
बता दे कि इससे पहले हुए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस पार्टी को बहुमत मिला था और कांग्रेस पार्टी के कमलनाथ मुख्यमंत्री चुने गए थे। इसके कुछ दिनों बाद ही उनकी सरकार गिर गई और फिर दोबारा शिवराज सरकार मध्य प्रदेश में लौट आई क्योंकि कुछ विधायक कांग्रेस से बीजेपी में चले गए जिससे कांग्रेस के बहुमत खत्म हो गया लेकिन जनता के द्वारा पहले कांग्रेस को चुना गया था अब देखना यह होगा कि इस बार 2023 के विधानसभा चुनाव में मध्य प्रदेश की जनता किसे अपना प्रतिनिधित्व देती है और किसे अपना प्रतिनिधि चुनती है।